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अर्थराइटिस यानी गठिया: जानें इसके लक्षण, प्रकार और बचाव के उपाय। Arthritis signs and symptoms in hindi

Arthritis kya hota hai… अर्थराइटिस यानी गठिया की बीमारी मौजूदा समय की लाइफस्टाइल और गलत खान-पान के कारण आज की युवा पीढ़ी को भी अपनी चपेट में लेने लगी है। अर्थराइटिस जोड़ों के दर्द से जुडी एक बीमारी है। जिसका सबसे ज्यादा असर पीड़ित व्यक्ति के घुटने और कूल्हे में देखा जाता है। इस बीमारी में व्यक्ति को कंधे, घुटने, कूल्हे और एड़ियों में दर्द की समस्या रहती है। साथ ही कई बार इन जगहों पर सूजन भी आ जाती है। इसके अलावा अर्थराइटिस यानी गठिया से पीड़ित व्यक्ति को समय-समय पर अपने बदन में दर्द और अकड़न महसूस होती है। अर्थराइटिस से पीड़ित व्यक्ति को दर्द के कारण कई बार अपने हाथ और पैर हिलाने में भी दिक्क्त का सामना करना पड़ सकता है। आईये जानते है क्या होता है अर्थराइटिस यानी गठिया (Arthritis kya hota hai) की बीमारी क्या है इसके लक्षण।

अर्थराइटिस यानी गठिया
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अर्थराइटिस यानी गठिया क्या है : Arthritis kya hota hai

यह एक ऐसी बीमारी है, जिसमें व्यक्ति के जोड़ों में दर्द रहने के साथ कई बार सूजन की समस्या भी देखने को मिलती है। यह स्थिति किसी भी व्यक्ति के लिए बेहद तकलीफदेह और पीड़ा दायक हो सकती है। इस रोग से पीड़ित व्यक्ति को असहनीय दर्द का सामना करना पड़ सकता है। समय रहते इसका इलाज और निरंतर एक्सरसाइज कर इस रोग से छुटकारा पाया जा सकता है।

कितनी तरह का होता है गठिया –

ये तो आप जान ही गए होंगे कि (Arthritis kya hota hai) अर्थराइटिस यानी गठिया क्या होता है। अब ये भी जान लीजिए यह कितने प्रकार का होता है। उपचार की विभित्ताओं के आधार पर देखें तो 100 से भी अधिक प्रकार के अर्थराइटिस मौजूद होते हैं। लेकिन इनमें दो प्रकार के अर्थराइटिस (Arthritis) मुख्य माने जाते हैं। पहला रूमेटाइड अर्थराइटिस और दूसरा ऑस्टियो-अर्थराइटिस। पूरे भारत की बात करें तो मौजूदा समय में एक बड़ा समूह इस बीमारी की चपेट में है।

अर्थराइटिस यानी गठिया के प्रकार – Types Of Arthritis In Hindi

रूमेटाइड अर्थराइटिस – Rheumatoid Arthritis

यह ऑटोइम्यूनिटी से जुडी बीमारी है। पुरुषों के मुकाबले में महिलाओं में अधिक मात्रा में देखने को मिलती है।
पीड़ित व्यक्ति को जोड़ों में दर्द के साथ सूजन का सामना करना पड़ सकता है। गर्मियों के मुकाबले सर्दियों में यह समस्या अधिक बढ़ जाती है। इसमें जोड़ो को काफी नुकसान पहुंचने की संभावना होती है। समय रहते इसे काबू में नहीं किया गया तो यह आगे चल कर गंभीर रूप ले सकती है।

ऑस्टियो अर्थराइटिस – Osteoarthritis

यह भी गठिया का एक कॉमन रूप होता है। इसमें व्यक्ति के जोड़ों पर सबसे ज्यादा असर पड़ता है। पीड़ित व्यक्ति के जोड़ो में दर्द और सूजन रहने के साथ उसे चलने-फिरने और हिलने-डुलने में भी परेशानी हो सकती है। यह दर्द शरीर के छोटे-छोटे जोड़ों में भी हो सकता है। आमतौर पर यह बढ़ती उम्र के साथ होने वाली बीमारी है लेकिन आजकल युवाओं में भी देखने को मिल रही है।

सोरायटिक आर्थराइटिस – Psoriatic Arthritis

यह इंफ्लेमेटरी आर्थराइटिस का एक रूप होता है। इसमें पीड़ित व्यक्ति की उंगलियों, पैर के अंगूठों, घुटनों व पीठ में सूजन आ जाती है। इसके अलावा व्यक्ति के जोड़ों में दर्द और अकड़न भी होता है। साथ ही वह सख्त हो जाते हैं। इस प्रकार के गठिया का कोई स्थाई इलाज नहीं होता है।

गाउट – Gout

इस प्रकार के गठिया में खून और ऊतकों में यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ने के कारण गाउट हो जाता है। गाउट में यूरिक एसिड के क्रिस्टल जोड़ों में जमा होने लगते हैं, जो एक प्रकार के गठिया को जन्म देते हैं जिसे गाउटी अर्थराइटिस कहा जाता है यह खासतौर पर पैरों की उंगलियों को प्रभावित करता है।

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अर्थराइटिस यानी गठिया के लक्षण – Arthritis ke lakshan

जोड़ों में दर्द –

यह इस बीमारी का सबसे मुख्य लक्षण है, इसमें व्यक्ति के जोड़ों में दर्द होता है। हालांकि, इस समस्या का इलाज घुटनोंं की मालिश करके या फिर एक्सरसाइज करके काफी हद तक किया जा सकता है। लेकिन लंबे समय तक इसे साधारण दर्द की समस्या समझ इसका इलाज नहीं करवाना आगे चल कर आपके लिए एक बड़ी समस्या खड़ी कर सकता है।

जोड़ों में अकड़न रहना –

ऐसा देखा गया है कि गठिया से ग्रस्त लोगों को जोड़ों में दर्द के अलावा अकड़न की समस्या भी रहती है।

घुटनों में सूजन की समस्या –

इस समस्या से पीड़ित लोगों को घुटनों में सूजन की समस्या का भी सामना करना पड़ सकता है। यदि आपके भी इस प्रकार की कोई समस्या हो रही हो तो तुरंत नजदीकी हड्डी रोग विशेषज्ञ को दिखाएँ।

चलने-फिरने में तकलीफ होना-

अर्थराइटिस यानी गठिया से पीड़ित व्यक्ति को चलने-फिरने में तकलीफ का सामना करना पड़ सकता है। कई बार समस्या इतनी बढ़ जाती है कि चलने फिरने के लिए किसी दूसरे व्यक्ति का सहारा लेना पड़ता है।

जोड़ों की त्वचा का लाल पड़ना-

इस समस्या से ग्रस्त व्यक्ति के घुटने के दर्द वाले जोड़ों की त्वचा लाल पड़ने लगती है।

अर्थराइटिस से बचाव के उपाय – Arthritis se bachne ke upay

  • नियमित योगा और एक्सरसाइज करें।
  • खान पान के स्तर को सुधारे।
  • बहुत देर तक ही पोजीशन में न बैठे रहें।
  • बढ़ते वजन पर कंट्रोल करें।
  • फोम वाले गद्दे पर न सोएं।

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